M.Ed_New_Session (8)

Starting of new session of M.Ed

मंत्रोच्चारण एवं हवन में आहुति के साथ हुआ जेसीडी शिक्षण महाविद्यालय के एम.एड. का नवीन सत्र का शुभारंभ
विद्यार्थी अपनी इच्छाशक्ति को मजबूत कर जीवन का लक्ष्य निर्धारित करके आगे बढ़ें- डॉ.शमीम शर्मा

सिरसा 04 फरवरी, 2022: जेसीडी विद्यापीठ में स्थापित शिक्षण महाविद्यालय के एम.एड. नए सत्र का शुभारंभ मंत्रोच्चारण एवं हवन में आहुति के साथ हुआ,जिसमें जेसीडी विद्यापीठ के प्रबंध निदेशक डॉ.शमीम शर्मा ने मुख्य यजमान की भूमिका निभाते हुए बतौर मुख्यातिथि उपस्थित हुए। वहीं इस कार्यक्रम की अध्यक्षता जेसीडी शिक्षण महाविद्यालय के प्राचार्य डॉ. जयप्रकाश द्वारा की गई। इस अवसर पर सभी महाविद्यालयों के प्राचार्य डॉ. कुलदीप सिंह,डॉ. दिनेश कुमार गुप्ता,डॉ. अनुपमा सेतिया,डॉ. शिखा गोयल,जेसीडी डेंटल कॉलेज के डायरेक्टर डॉ. राजेश्वर चावला,जेसीडी विद्यापीठ के रजिस्ट्रार डॉ. सुधांशु गुप्ता के अलावा अन्य अधिकारीगण व अन्य गणमान्य अतिथियों ने भी हवन यज्ञ में अपने कर-कमलों द्वारा आहुति डालकर शुभफल की कामना की।

सर्वप्रथम प्राचार्य डॉ. जयप्रकाश ने आए हुए अतिथियों का स्वागत करते हुए कहा कि हवन-यज्ञ का केवल संस्कारों से ही नहीं अपितु साईंस से भी सम्बन्ध है तथा इस हवन में डाली जाने वाली सामग्री में अनेक औषधियां समाहित होती है जो वातावरण को पवित्र एवं शुद्ध बनाने में सहायक होती है इसलिए भी हवन को पवित्र तथा शुभफलदायी माना गया है। उन्होंने कहा कि किसी भी कार्य का प्रारंभ अगर हवन-यज्ञ से करने की पौराणिक परम्परा के अनुसार ही आज कॉलेज द्वारा पहला पड़ाव पार कर लिया गया है तथा आज से विद्यार्थियों की सुचारू कक्षाएं प्रारंभ हो गई हैं। डॉ. जयप्रकाश ने परमात्मा के श्री चरणों की कामना की और कहा कि पूरा वर्ष स्टाफ और विद्यार्थियों के लिए आनंदमय हो। विद्या की देवी का प्रवाह सभी पर बना रहे। संपूर्ण महाविद्यालय का उद्देश्य पूर्णत: को प्राप्त हो। पवित्र वातावरण में विद्या का अध्ययन चले। परमात्मा यहां के स्टाफ व विद्यार्थियों को ऐसा बल दे कि वे सफलता की बुलंदियों को छू लें। इसके उपरांत शांति से परमात्मा का गुणगान किया गया।

मुख्यातिथि डॉ.शमीम शर्मा ने नव आगंतुक बी.एड. एवं एम.एड. के विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए कहा कि विद्यार्थी अपनी इच्छाशक्ति को मजबूत कर जीवन का लक्ष्य निर्धारित करके आगे बढ़ें। इस सत्र में सभी विद्यार्थियों को संकल्प लेना चाहिए कि वे मन लगाकर पढ़ेंगे। उन्होंने कहा कि इससे न केवल मानसिक व शारीरिक शुद्धि होती है बल्कि आसपास का माहौल भी प्रदूषण मुक्त हो जाता है। उन्होंने कहा कि हवन से एक सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है और हवन में भाग लेने वाला प्रत्येक व्यक्ति नवस्फूर्ति से अपने काम में लग जाता है। हवन अथवा यज्ञ भारतीय परंपरा अथवा हिंदू धर्म में शुद्धीकरण का एक कर्मकांड है। कुण्ड में अग्नि के माध्यम से ईश्वर की उपासना करने की प्रक्रिया को यज्ञ कहते हैं। शुभकामना, स्वास्थ्य एवं समृद्धि इत्यादि के लिए भी हवन किया जाता है।

इस मौके पर सभी नए विद्यार्थियों सहित अन्य महाविद्यालयों के प्राचार्यों, जेसीडी विद्यापीठ के रजिस्ट्रार सहित अनेक अधिकारियों व स्टाफ सदस्यों तथा अतिथियों के साथ हवन-यज्ञ में आहुति डालकर मंगलमय भविष्य एवं शैक्षिक प्रगति की कामना की।

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